स्लीप एपनिया : क्या है ये बीमारी जिससे गई सिंगर बप्पी लहरी की जान? जानिये इसके लक्षण और बचाव के तरीके
प्रस्तुति - 'मनितोष सरकार' (संपादक)
'हमसफर मित्र न्यूज'
जो लोग मोटापे के शिकार हैं, उन्हें स्लीप एपनिया की बीमारी का जोखिम ज्यादा रहता है।
जिन लोगों की नींद का पैटर्न सही नहीं रहता, यानी बार-बार नींद खुल जाती है, उन्हें इस बीमारी का ज्यादा जोखिम रहता है।
बॉलीवुड के मशहूर डिस्को और रॉक म्यूजिक के संगीतकार बप्पी लहरी का नींद की बीमारी स्लीप एपनिया की वजह से निधन हो गाया। स्लीप एपनिया एक ऐसी स्थिति है जिसमें सोते समय अचानक सांस रुक जाती है और फिर अचानक शुरू हो जाती है। इस दौरान शरीर को पूरी ऑक्सीजन नहीं मिल पाती। सांस टूटने से आंखें खुलती है और उठते ही इंसान तेजी से हांफना शुरू कर देता है। अगर इसका लंबे समय तक इलाज नहीं किया जाए तो बहुत खतरनाक हो सकता है।
ऑब्सट्रक्टिव स्लीप एपनिया का विज्ञानः
मेडिकल न्यूज टूडे के मुताबिक जब छाती से उपर वायु मार्ग अवरुद्ध होने लगे तो इसे ऑब्सट्रक्टिव स्लीप एपनिया की स्थिति कहते हैं। इसमें ऐसा लगता है कि सांस ऊपर जा नहीं रही है। इस स्थिति में डायाफ्राम और छाती की मांसपेशियों को लंग्स से ऑक्सीजन खींचने में काफी मेहनत करनी पड़ती है। इससे सांस लेने में बहुत तकलीफ होती है।
ज्यादा देर तक ऐसा होने से सांस बंद भी हो सकती है। चूंकि ऑक्सीजन की सप्लाई बाधित हो जाती है, इसलिए शरीर के जरूरी अंगों में भी ऑक्सीजन पहुंचना बंद हो जाती है। इससे हार्ट बीट पर असर पड़ता है।
इन स्थितियों में हो सकती है स्लीप एपनिया
दिन में ज्यादा नींद आना, थकान
जब आप उठते हैं तो गला और मुंह में ड्राईनेस होना
सुबह में सिर में दर्द होना
ध्यान केंद्रित करने में दिक्कत होना, भूलने की बीमारी, डिप्रेशन
रात में सोते समय पसीना आना
नींद के दौरान बेचैनी
सेक्स के दौरान समस्या, लो सेक्स ड्राइव
खर्राटा लेना
अचानक नींद खुल जाना और ऐसा लगना कि दम घुट रहा है
सुबह उठने में दिक्कत होना
हाई ब्लड प्रेशर
एसिडिटी
किसको हो सकता है स्लीप एपनिया:
मेडिकल टर्म में यह बीमारी किसी को भी हो सकती है। हालांकि जो लोग मोटापे के शिकार हैं, उन्हें इस बीमारी का जोखिम ज्यादा रहता है। इसके अलावा रात में जिन लोगों की नींद का पैटर्न सही नहीं रहता, यानी बार-बार नींद खुल जाती है, उन्हें इस बीमारी का ज्यादा जोखिम रहता है।
बचने के लिए क्या करें:
अगर नींद के दौरान परेशानी है या खर्राटे की समस्या है तो इससे बचने के लिए कोई घरेलू तरीका नहीं है। इसके लिए आपको विशेषज्ञ डॉक्टर के पास जाना चाहिए। डॉक्टर मरीज के नींद के पैटर्न को मॉनिटर करने के बाद एक यंत्र लगाने की सलाह देते हैं जिससे स्लीप एपनिया की जटिलताओं को रोका जा सकता है।
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