कोरोना पर कविता : अनमोल जीवन
'हमसफर मित्र न्यूज'
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अनमोल है ये जीवन,
रखना जरा संभाल कर।
कदम न लड़खड़ाना,
तू चलना ऐसे जानकर।
//1//
ये कैसी विपदा आई,
दुख के जो बदरा छाई।
मची है हाहाकार,
मौतों से गले लगाई।
आया जो है कोरोना,
सबका हुआ है रोना।
हौसला से ही मानव ,
पक्का ही जीत होना।
करना योग निशदिन,
तन मन को ये संभाल कर।
कदम न लड़खड़ाना,
तू चलना ऐसे जानकर।
//2//
ब्राम्हण को न करना दान,
डॉक्टर के कहना मान।
सेवा करे जतन से,
वही असली है भगवान।
जीवन में एक दिन सबको,
आना है और जाना।
मत करना तू घमंड जी,
काया का क्या ठिकाना।
हौसला सदा तू रखना,
जीवन को धैर्य धारकर।
कदम न लड़खड़ाना,
तू चलना ऐसे जानकर।
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