डबल मर्डर का आंशिक खुलासा, तकिए से दबाकर ली गई थी जान
'खेमसागर पैकरा' की रिपोर्ट
'हमसफर मित्र न्यूज'
रायगढ़ /लैलूंगा- मदन मित्तल और उनकी पत्नी अंजू मित्तल की लाश गुरुवार सुबह उनके कमरे में मिली थी। दोनों का चेहरा तकिए से दबाकर उनकी जान ली गई थी। पुलिस ने जांच शुरू की है, लेकिन कोई ठोस सबूत अभी तक हाथ नहीं लगा है।
हत्या का कारण लूट या रंजिश...?
लैलूंगा के सबसे बड़े परिवार के मदन मित्तल और उनकी पत्नी अंजू मित्तल का शाम को अंतिम संस्कार कर दिया गया। अंतिम यात्रा में शामिल होने के लिए लैलूंगा सहित जशपुर, रायगढ़ जिले से सैकड़ों की संख्या में लोग पहुंचे थे। शहर में तो सुबह खबर मिलते ही बाजार, संस्थान बंद हो गए थे। मदन अग्रवाल समाज के प्रमुख थे। लिहाजा राजधानी रायपुर तक से समाज के लोग लैलूंगा पहुंचे। सभी की पुलिस और प्रशासन से एक ही मांग है कि हत्यारों को कड़ी से कड़ी सजा मिले।
आपसी रंजिश का संदेह, एक ड्राइवर हिरासत में
हत्या का कारण लूट या रंजिश इस पर टिकी पूरी जांच..?
दरअसल इस डबल मर्डर की पूरी जांच हत्या के कारण पर टिकी हुई है। कारण जैसे ही स्पष्ट होगा, आधी उलझन सुलझ जाएगी। अभी जो कारण समझ में आ रहे हैं वह लूट और आपसी रंजिश दोनों है लेकिन दोनों में कई पेंच हैं। परिवार की बहू और दूसरे सदस्य कह रहे हैं कि मदन मित्तल के कमरे से सोने के गहनों के 3-4 सेट, बड़ी मात्रा में नकद गायब है। यदि यह सच है तो फिर हत्या का कारण लूट ही होगा लेकिन पुलिस सूत्रों के मुताबिक घटनास्थल लूट की पुष्टि नहीं कर रहा है। पुलिस के मुताबिक जिस तिजोरी से गहने और नकद गायब बताए जा रहे हैं वहां गहनों के कई सेट, चूड़ियां, सोने-चांदी के दूसरे आभूषण और बड़ी मात्रा में नकद रकम मौजूद है। एक अनुमान के तहत इनकी कीमत 1 करोड़ से भी ज्यादा है। ऐसे में यह सवाल है कि लुटेरे पहुंच में होने के बावजूद इतना कुछ छोड़कर कैसे जाएंगे।
लूटेरे छोड़ जाते हैं गहनों के खाली डिब्बे, लेते हैं तलाशी...?
पुलिस अपनी थ्योरी में घटनास्थल का ही हवाला देते हुए कह रही है कि लुटेरे अमूमन जेवरों के डिब्बों से गहने निकालकर डिब्बे, घर में ही या आसपास कहीं छोड़ जाते हैं, इस केस में ऐसा नहीं हुआ। फिर जो लूट की नीयत से आते हैं वो कमरे की तलाशी लेते हैं। यहां तलाशी जैसी कोई बात नहीं थी, बल्कि एक और अलमारी जिसमें चाबी लगी थी, उसे भी नहीं खोला गया। पुलिस के मुताबिक लूट के ज्यादातर मामलों में लुटेरे धारदार हथियार, रॉड लेकर आते हैं और उससे हमला करते हैं। ऐसे हत्या थोड़ी अजीब है।
मदन मित्तल के गले में थी सोने की चैन...?
यदि लूट की नीयत से यह घटना की गई है तो मृतक मदन मित्तल के गले की सोने की चैन भी लुटेरों को ले जानी थी। क्योंकि उस पर नजर पड़ना स्वाभाविक है, लेकिन ऐसा नहीं किया गया। सुबह जब शव मिला तो चैन उनके गले में थी।
मारने से पहले बेहोश किया गया था...?
मदन और अंजू मित्तल के शव जिस तरह मिले हैं। उससे साफ है कि मौत से पहले हत्यारों और इनके बीच कोई संघर्ष नहीं हुआ। ये चौंकाने वाला है। पुलिस ने जो जांच की है उसमें यह सामने आया है कि अंजू मित्तल नींद की दवाई लेती थीं, लिहाजा वो गहरी नींद में थीं, लेकिन मदन मित्तल का भी विरोध नहीं करना पुलिस को समझ नहीं आया। इसलिए यह भी जांच की जा रही है कि क्या हत्यारों ने बेहोश करने की कोई दवा का प्रयोग किया था।
वहीं इस मामले में पोस्टमार्टम की रिपोर्ट अभी नहीं आयी है रिपोर्ट आने के बाद ही मौत के स्पष्ट कारणों का पता चल पायेगा । प्रथम दृष्टया में उनकी हत्या गला दबाकर की गई है ऐसी जानकारी मिल रही है। इस मामले में वे काफी गंभीर नजर आ रहे है जिस तरह के संकेत मिले हैं |
साइंस वाणी चैनल
ब्लॉक रिपोर्ट खेमसागर पैंकरा लैलूंगा |
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